देहरादून: विश्व मासिक धर्म स्वच्छता दिवस के अवसर पर, ह्यूमन्स फॉर ह्यूमैनिटी ने केदारपुरम में नारी निकेतन की कैदियों और अपना घर आश्रम की लड़कियों के लिए मासिक धर्म स्वच्छता कार्यशाला और सैनिटरी पैड वितरण अभियान का आयोजन किया।
कार्यशाला के दौरान, प्रतिभागियों ने मासिक धर्म स्वच्छता, सैनिटरी प्रोडक्ट्स के उपयोग के महत्व और मासिक धर्म से जुड़े मिथकों से निपटने के तरीकों के बारे में सीखा। ह्यूमन्स फॉर ह्यूमैनिटी के वॉलंटियर्स ने सैनिटरी प्रोडक्ट्स के उपयोग के बारे में सिखाया और सभी प्रतिभागियों को स्वच्छता किट वितरित की।
ह्यूमन्स फॉर ह्यूमैनिटी के संस्थापक अनुराग चौहान, जिन्हें ‘पैडमैन’ के नाम से भी जाना जाता है, ने अपना जीवन वर्जनाओं को ख़त्म करने और बेहतर मासिक धर्म स्वच्छता के माध्यम से महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए समर्पित करा है। उनके नेतृत्व में, इस संगठन ने सात राज्यों में 4.2 मिलियन से अधिक महिलाओं तक पहुँच कर उन्हें आवश्यक मासिक धर्म स्वच्छता प्रॉडकट्स और उनके बारे में शिक्षा प्रदान की है।
अनुराग चौहान ने कहा, “ह्यूमन्स फॉर ह्यूमैनिटी की पहल, जैसे कि ‘ब्रेकिंग द ब्लडी टैबूज़’ का उद्देश्य जागरूकता बढ़ाना और ट्रांसमेन सहित स्वीकृति को बढ़ावा देना है, जिससे सभी के लिए अधिक समावेशी वातावरण का निर्माण होता है। हमारा संगठन शिक्षा, मानसिक स्वास्थ्य, कौशल विकास और रोजगार सृजन में भी शामिल है, जो समग्र सामुदायिक विकास और सतत परिवर्तन के प्रति प्रतिबद्धता को दर्शाता है।”
उन्होंने आगे कहा, “भारत में, मासिक धर्म स्वच्छता प्रोडक्ट्स और उचित शिक्षा तक पहुँच की कमी इस संकट को बढ़ाती है, जिससे व्यापक स्वास्थ्य समस्याएँ और सामाजिक वर्जनाएँ पैदा होती हैं। यह एक वास्तविकता है जिसे अनदेखा नहीं किया जा सकता है।”
कई कैदियों ने कार्यशाला के लिए अपना आभार व्यक्त किया। प्रतिभागियों में से एक ने कहा, “यह सत्र आँखें खोलने वाला रहा। मैंने अपने मासिक धर्म के दौरान खुद की देखभाल करने के तरीक़ों के बारे में बहुत कुछ सीखा।”