Latest posts by Sapna Rani (see all)ऋषिकेश: आज विश्व शौचालय दिवस मनाया जा रहा है, जिसका उद्देश्य दुनियाभर में खुले में शौच की समस्या को रोकना और लोगों को उचित स्वच्छता सुविधाएं प्रदान करना है. लेकिन यह देखकर हैरानी होती है कि ऋषिकेश नगर निगम और आसपास के क्षेत्र में महिलाओं के लिए एक भी पिंक टॉयलेट उपलब्ध नहीं है. पिंक टॉयलेट महिलाओं के लिए सुरक्षित और स्वच्छता मानकों के अनुसार बनाए गए शौचालय होते हैं, जो उन्हें गरिमा और सुविधा प्रदान करते हैं. ये खासतौर पर महिलाओं के लिए बनाए जाते हैं ताकि उन्हें समस्या न हो.पिंक टॉयलेट की नहीं है सुविधानगर निगम क्षेत्र ऋषिकेश में महिलाओं के लिए पिंक टॉयलेट जैसी विशेष सुविधाओं का अभाव बना हुआ है. इससे यह सवाल उठता है कि महिलाओं की बुनियादी जरूरतों की पूर्ति और उनकी सुरक्षा को लेकर क्या गंभीरता दिखाई जा रही है. ऋषिकेश में कुछ बड़े सार्वजनिक शौचालयों में पुरुषों और महिलाओं के लिए अलग-अलग व्यवस्थाएं उपलब्ध हैं, लेकिन सामान्य शौचालयों की हालत चिंताजनक है.इन शौचालयों में सफाई और रखरखाव की कमी के कारण लोग इनका उपयोग करने से कतराते हैं. वहीं, यह भी देखा गया है कि अधिकांश सार्वजनिक शौचालयों पर 24 घंटे सेवा का बोर्ड तो लगा है, लेकिन ये शौचालय रात के नौ बजे बंद कर दिए जाते हैं. इसका अर्थ है कि रात्रि में या आपातकालीन स्थिति में महिलाओं के लिए स्वच्छता सुविधा का अभाव रहता है, जिससे उन्हें असुविधा का सामना करना पड़ता है.क्या कहना है अधिकारियों कानगर निगम के अधिकारियों का कहना है कि महिलाओं के लिए पिंक टॉयलेट का निर्माण करने के लिए योजना बनाई जा रही है. इस संबंध में शहरी विकास निदेशालय को एक प्रस्ताव भेजा गया है. अगर यह प्रस्ताव स्वीकृत हो जाता है, तो नगर निगम क्षेत्र में पिंक टॉयलेट का निर्माण कार्य शुरू किया जाएगा. इस योजना का उद्देश्य महिलाओं को स्वच्छता और सुरक्षा की दृष्टि से एक बेहतर वातावरण प्रदान करना है. पिंक टॉयलेट का निर्माण महिलाओं को न केवल स्वच्छता बल्कि मानसिक सुरक्षा भी प्रदान करता है.
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ऋषिकेश में नहीं हैं महिलाओं के लिए पिंक टॉयलेट, स्वच्छता सुविधाओं पर उठ रहे सवाल – Uttarakhand myuttarakhandnews.com
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